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मानकी मुंडा छात्रवृत्ति योजना की बदली नियमावली, जानें अब किसे मिलेगा लाभ

रांची दर्पण डेस्क। झारखंड सरकार ने उच्च और तकनीकी शिक्षा में गुणात्मक सुधार लाने और तकनीकी क्षेत्र में राज्य की छात्राओं की सहभागिता बढ़ाने के उद्देश्य से मानकी मुंडा छात्रवृत्ति योजना की शुरुआत की है। इस योजना को सत्र 2023-24 से लागू किया गया है, जिसका उद्देश्य अधिक से अधिक छात्राओं को तकनीकी शिक्षा की ओर प्रेरित करना है।

योजना के प्रमुख पहलू: उच्च एवं तकनीकी शिक्षा विभाग द्वारा जारी अधिसूचना के अनुसार यह योजना उन छात्राओं के लिए है जो झारखंड राज्य के सरकारी, निजी या पीपीपी मोड पर संचालित डिप्लोमा स्तरीय कोर्स में नामांकित हैं। योजना के तहत झारखंड राज्य के विद्यालय से 10वीं कक्षा उत्तीर्ण छात्राओं को डिप्लोमा कोर्स के लिए प्रतिवर्ष 15 हजार रुपये की छात्रवृत्ति प्रदान की जाएगी।

लेटरल इंट्री के तहत नामांकित छात्राओं के लिए यह अनिवार्य होगा कि वे झारखंड स्थित शैक्षणिक संस्थान से 10वीं और 12वीं कक्षा के साथ-साथ आईटीआई उत्तीर्ण हों। इस योजना का लाभ 3000 छात्राओं को मिलेगा, जिसके लिए सरकार ने प्रतिवर्ष 4.50 करोड़ रुपये खर्च करने का अनुमान लगाया है।

बीटेक और इंजीनियरिंग छात्रों के लिए विशेष छात्रवृत्तिः इसके अलावा झारखंड में स्थित राजकीय, निजी या पीपीपी मोड पर संचालित इंजीनियरिंग कॉलेज में बीटेक और बी डिग्री कोर्स में नामांकित छात्राओं को प्रतिवर्ष 30 हजार रुपये की छात्रवृत्ति दी जाएगी। इस योजना का लाभ 1200 छात्राओं को मिलेगा, जिसके लिए लगभग 3.6 करोड़ रुपये प्रतिवर्ष खर्च किए जाएंगे।

छात्रवृत्ति की शर्तें: योजना का लाभ प्राप्त करने के लिए छात्राओं को निम्नलिखित शर्तों का पालन करना होगा-

  • छात्राओं को न्यूनतम 50 प्रतिशत अंक प्राप्त करने होंगे।
  • छात्रा के पास कोई बैक पेपर नहीं होना चाहिए, अन्यथा छात्रवृत्ति समाप्त कर दी जाएगी।
  • लाभ लेनेवाली छात्राओं की सकल वार्षिक आय अधिकतम 8 लाख रुपये होनी चाहिए।
  • छात्रा को राष्ट्रीय या राज्य खाद्य सुरक्षा योजना से जुड़ना अनिवार्य है।
  • आवेदन प्रक्रिया ऑनलाइन होगी और छात्रा को किसी अन्य छात्रवृत्ति का लाभ नहीं मिल रहा होना चाहिए।

सरकार की प्रतिबद्धता: मानकी मुंडा छात्रवृत्ति योजना झारखंड सरकार की महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। इस योजना के माध्यम से सरकार न केवल छात्राओं को उच्च और तकनीकी शिक्षा में आगे बढ़ने के लिए प्रेरित कर रही है, बल्कि उन्हें आत्मनिर्भर बनने का अवसर भी प्रदान कर रही है।

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने इस पहल की सराहना करते हुए कहा है कि यह योजना झारखंड के विकास और महिला सशक्तिकरण के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। इस योजना के माध्यम से अधिक से अधिक छात्राओं को तकनीकी शिक्षा में लाने की दिशा में ठोस प्रयास किए जाएंगे, जिससे वे अपने भविष्य को संवार सकें।

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