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रिम्स शासी परिषद की बैठक में स्वास्थ्य मंत्री ने दी कई जनकल्याणकारी सौगात

रांची दर्पण डेस्क। झारखंड की स्वास्थ्य सेवाओं और चिकित्सा शिक्षा के क्षेत्र में एक नया अध्याय जुड़ गया है। रांची के राजेंद्र इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज (रिम्स) में आज स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी की उपस्थिति में हुई शासी परिषद की ऐतिहासिक बैठक में कई जनकल्याणकारी निर्णय लिए गए। ये निर्णय न केवल रिम्स को देश के अग्रणी चिकित्सा संस्थानों की श्रेणी में लाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम हैं, बल्कि समाज के कमजोर वर्गों के लिए भी एक नई उम्मीद जगाते हैं।Health Minister gave many public welfare gifts in the meeting of RIMS Governing Council

बैठक में सबसे चर्चित निर्णय रहा मोक्ष वाहन योजना की शुरुआत। इस योजना के तहत रिम्स में मृत्यु होने पर मृतक के शव को उनके घर तक निशुल्क पहुंचाया जाएगा। इसके अतिरिक्त परिवार को अंतिम संस्कार के लिए ₹5000 की आर्थिक सहायता भी प्रदान की जाएगी। यह कदम उन परिवारों के लिए बड़ा सहारा साबित होगा, जो आर्थिक तंगी के कारण अंतिम संस्कार के खर्चों को वहन करने में असमर्थ होते हैं। स्वास्थ्य मंत्री ने इस योजना को लागू करने के लिए तत्काल प्रभाव से संसाधन उपलब्ध कराने का निर्देश दिया है।

रिम्स ने शिक्षा के क्षेत्र में भी एक क्रांतिकारी कदम उठाया है। अब गरीब और मेधावी बच्चों को रिम्स परिसर में ही NEET की मुफ्त कोचिंग प्रदान की जाएगी। इस पहल की खास बात यह है कि कोचिंग की जिम्मेदारी MBBS के टॉपर छात्रों को सौंपी जाएगी, जिन्हें प्रति घंटे ₹2500 की प्रोत्साहन राशि दी जाएगी। यह न केवल छात्रों को प्रेरित करेगा, बल्कि गरीब परिवारों के बच्चों को चिकित्सा शिक्षा के क्षेत्र में आगे बढ़ने का अवसर भी प्रदान करेगा।

इंटर्न डॉक्टरों के लिए भी खुशखबरी आई है। शासी परिषद ने निर्णय लिया है कि अब रिम्स में इंटर्न डॉक्टरों को AIIMS के तर्ज पर ₹30,000 प्रतिमाह मानदेय दिया जाएगा। यह कदम न केवल युवा डॉक्टरों को आर्थिक रूप से सशक्त करेगा, बल्कि उनकी मेहनत और समर्पण को भी सम्मान देगा। इस निर्णय से रिम्स में इंटर्नशिप करने वाले छात्रों में उत्साह का माहौल है।

रिम्स के कर्मचारियों के लिए भी यह बैठक एक सौगात लेकर आई। ANM, GNM और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की सैलरी में इस दिवाली से बढ़ोतरी की जाएगी। यह कदम न केवल कर्मचारियों के जीवन स्तर को बेहतर बनाएगा, बल्कि उनकी कार्यक्षमता और समर्पण को भी बढ़ाएगा। कर्मचारियों ने इस निर्णय का स्वागत करते हुए इसे एक दिवाली उपहार बताया है।

स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी ने बैठक के बाद कहा कि रिम्स न केवल झारखंड, बल्कि पूरे देश में चिकित्सा और जनसेवा के क्षेत्र में एक मिसाल बनेगा। ये निर्णय समाज के हर वर्ग को ध्यान में रखकर लिए गए हैं। रिम्स के निदेशक ने भी इन योजनाओं को लागू करने के लिए तत्परता दिखाने का आश्वासन दिया है।

उम्मीद है कि इन कदमों से रिम्स न केवल एक चिकित्सा संस्थान के रूप में अपनी पहचान को और मजबूत करेगा, बल्कि सामाजिक समावेशिता और जनकल्याण के क्षेत्र में भी एक नया मानदंड स्थापित करेगा।

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